पदोन्नति पर सरकारी रोक का आदेश नहीं, फिर भी लाखों कर्मचारी इँतजार में, आरटीआई से हुआ खुलासा

ग्वालियर22अगस्त2024। सूचना के अधिकार के तहत प्राप्त जानकारी से खुलासा हुआ है कि मध्यप्रदेश में प्रमोशन पर किसी तरह की कोई रोक नही है और इस सबंध में कोई सरकारी आदेश भी जारी नही हुआ है लेकिन फिर भी प्रदेश में वर्ष 2016 से नियमित पदोन्नति नही हो रही है। जिसके चलते लगभग एक लाख से ज्यादा कर्मचारी बिना प्रमोशन के रिटायर हो गए, जबकि लाखों कर्मचारी अभी भी प्रमोशन के इँतजार में है। इस दौरान बीजेपी सरकार के लंबे कार्यकाल के बीच कांग्रेस सरकार भी प्रदेश में काबिज हुई, लेकिन दोनों ही सरकारों ने इस सबंध में कुछ नही किया।

म.प्र. तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ के ग्वालियर जिलाध्यक्ष राकेश सिंह ने मध्यप्रदेश के चिकित्सा शिक्षा विभाग, लोकस्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग और खाध एवं प्रसंस्कण विभाग मे सूचना के अधिकार के तहत आवेदन कर प्रमोशन पर रोक के संबंध में जारी आदेश की जानकारी मांगी। जिसके संबंध में इन तीनों ही विभागों से जानकारी मिली कि प्रमोशन पर रोक संबंधी कोई आदेश सरकार की तरफ जारी नही किया गया है। लेकिन इसके बाबंजूद प्रदेश में नियमित प्रमोशन नही हो रहे है।

जानकारी के मुताबिक मध्य प्रदेश में पिछले आठ वर्ष से सरकारी कर्मचारियों की पदोन्नतियां नहीं हुई है। वर्ष 2016 में हाईकोर्ट जबलपुर ने पदोन्नति नियम 2002 को निरस्त कर दिया था। तब से अब तक तीन बार सरकार बदल चुकी हैं, लेकिन कोई भी सरकार पदोन्नति का रास्ता नहीं निकाल पाई है। मामला पदोन्नति में आरक्षण को लेकर फंसा हुआ है। इसको लेकर पूर्ववर्ती शिवराज सरकार ने समिति भी बनाई और वरिष्ठ अधिवक्ताओं से नियम भी बनवाए पर अभी तक कोई रास्ता नहीं निकल पाया। इस बीच हजारों अधिकारी-कर्मचारी बिना पदोन्नत हुए ही सेवानिवृत्त हो गए। शिवराज सरकार के बाद कमलनाथ सरकार भी 15 माह के लिए आई पर उसने भी कुछ नहीं किया। वर्तमान बीजेपी सरकार की तरफ से भी इस संबंध में कोई पहल करने के संकेत नजर नही आ रहे है। अभी भी हजारों कर्मचारी नियमित प्रमोशन की बाट जोह रहे है।

हांलाकि कुछ समय पहले कुछ विभागों ने कार्यवाहक पदोन्नति देना शुरू किया है। लेकिन उसे नियमित पदोन्नति नही माना सकता, उसमे भी सेवा शर्तों के लिहाज से कई विसंगितयां है वहीं ये कार्यवाहक पदोन्नति भी सभी विभागों में नही की जा रही है।

आपका कहना हैः

मप्र शासन के समस्त विभागो में वर्ष 2016 से पदोन्नति नही होने के कारण प्रदेश के लगभग सवा लाख शासकीय सेवक बिना पदोन्नति के सेवानिवृत्त हो गये है। जबकि शासन ने व शासन के किसी भी विभाग ने पदोन्नति रोकने हेतु कोई आदेश जारी नही किया है।

राकेश सिंह

जिलाध्यक्ष

मप्र तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ जिला ग्वालियर

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