(जितेंद्र पाठक, ग्वालियर)
दीवाली के मद्देनजर पूरे शहर में युद्ध स्तर पर सफाई अभियान चलाने का दावा किया जा रहा है लेकिन ये अभियान उन्ही जगहों पर ज्यादा नजर आ रहा है जहां अधिकारियों की नजर पड जाती है अन्यथा गंदगी के ढेर खुले में लगे हुए है। जहां निगम अमला सफाई करने के बजाए कचरे का डंपिंग स्पॉट बना रहा है।
ग्वालियर के ह्रदय स्थल महाराज बाडे से महज कुछ कदम की दूरी पर लश्कर क्षेत्र का सबसे बडा स्टेडियम छत्री बाजार खेल मैदान स्थित है। हाल ही में इस खेल मैदान लाखों रूपए की लागत से सजाया संवारा गया है। इस खेल मैदान में बच्चों की हॉकी ट्रेनिंग अकादमी भी संचालित हो रही है जहां सुबह शाम बच्चे ट्रेनिंग लेने आते है इसके साथ ही सुबह शाम योगा, एक्सरसाईज और वॉक के लिए भी रहवासी पहुंचते है।
इसके बाबजूद नगर निगम के सफाई अमले की लापरवाही के चलते इस खेल मैदान के प्रवेश द्वार के बाहर ही कचरे का बडा डंपिंग स्पॉट बन गया है। जहां आसपास के पूरे क्षेत्र का कचरा लाकर यहां डाला जा रहा है। खुद निगमकर्मी ही यहां लाकर कचरा इकट्टा कर रहे है। जिससे इस खेल मैदान की सुंदरता को पलीता लग रहा है। वहीं नगर निगम के सफाई के दावे की सच्चाई भी नजर आ रही है। यहां वॉक के लिए आने वाले लोग कहते है कि अगर छत्री बाजार का सबसे गंदा और कचरे वाला स्पॉट अगर कहीं है तो वो यहीं है।
दूसरी तरफ इस खेल मैदान की दर्शक दीर्घा की हालत यहां आकर नशेडी खराब कर रहे है रात के समय नशेडी इस स्टेडियम के अंदर दीवार फांदकर दाखिल हो जाते है और यहीं बैठकर शराब, गांजा और दूसरे नशे करते है जिसकी गवाही यहां दूसरे दिन मिलती खाली बीयर शराब की बोतलें, गिलास, पानी के पाउच और खाली सिगरेट देती है। दर्शक दीर्घा में लगे लाल पत्थरों को नशेडियों ने गुटखा पानमसाला की पीक से लाल कर दिया है। सुबह यहां दर्शक दीर्घा को देखकर लगता है कि जैसे रात में बीयरबार संचालित हुआ हो। हांलाकि यहां एक चौकीदार अपने परिवार के साथ ही स्टेडियम के अँदर ही निवास करता है लेकिन लगता है कि वो डर या दबाब के चलते नशेडियों को अँदर आने से नही रोक पाता है।
उम्मीद है कि संज्ञान में आने के बाद तो कम से कम नगर निगम के जागरूक अधिकारी एक नजर इधर भी देंखेंगे। और लश्कर क्षेत्र के इस एकमात्र खेल मैदान की खूबसूरती को बिगडने से बचाएंगे।